सोमवार, 31 मार्च 2008

४५. निगाहें मिलाने मे !


निगाहें मिलाने मे डर लगता है ,

महबूब के इनकार से डर लगता है ,

वो खेले मेरे दिल से कुछ इस तरह ,

की अब तो इश्क के नाम से डर लगता है !!

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